गाजीपुर। 6 नवम्बर 2024 को क्रिकेट प्लेयर एसोसिएशन गाजीपुर के नेतृत्व में पूर्वांचल के विभिन्न जिलों के खिलाड़ियों ने लंका मैदान पर उत्तर प्रदेश क्रिकेट एसोसिएशन (UPCA) के खिलाफ धरना प्रदर्शन किया। इस प्रदर्शन का मुख्य उद्देश्य पूर्वांचल के खिलाड़ियों के साथ हो रहे अन्याय को उजागर करना था, खासकर UPCA की टीम चयन प्रक्रिया में उनकी उपेक्षा के खिलाफ आवाज उठाना था।
क्रिकेट प्लेयर एसोसिएशन के प्रदेश अध्यक्ष अरविंद सिंह ने बताया कि प्रदर्शन का पहला चरण 17 जिलों में शुरू किया गया है और पूर्वांचल के खिलाड़ियों के हक की रक्षा के लिए यह कदम उठाया गया है। वाराणसी ज़ोन के अध्यक्ष प्रेम सिंह ने कहा कि UPCA की चयन प्रक्रिया में पूर्वांचल के खिलाड़ियों को अनदेखा किया जा रहा है, जो पूरी तरह से निंदनीय है। वहीं, मंडल सचिव बजरंगी यादव ने यह आरोप लगाया कि यूपी की टीम में गाजियाबाद, मेरठ, मुरादाबाद जैसे पश्चिमी उत्तर प्रदेश और अन्य राज्यों जैसे हरियाणा और दिल्ली के खिलाड़ियों को प्राथमिकता दी जाती है, जबकि पूर्वांचल और अन्य यूपी जिलों के खिलाड़ियों को नजरअंदाज किया जा रहा है।
इस मौके पर सचिव ज्ञानेश्वर शर्मा और रणजी खिलाड़ी अरुण चौहान ने मांग की कि उत्तर प्रदेश की T-20 लीग में 10 टीमों का गठन किया जाए और उनमें से 50 खिलाड़ियों का चयन पूर्वांचल के जिलों से किया जाए। इसके अलावा, अशुतोष ने बताया कि यूपी में कुल 75 जिले हैं, लेकिन UPCA ने केवल 41 जिलों को मान्यता दी है, जबकि 34 जिलों के खिलाड़ियों को अब तक मान्यता नहीं दी गई है, जो कि अन्यायपूर्ण है।
गाजीपुर के खिलाड़ियों, जिनमें अभिषेक सिंह मिंटू और विकास यादव प्रमुख थे, ने मांग की कि UPCA के अंतर्गत अंडर-14, 16, 19, 23 और रणजी ट्रॉफी (पुरुष और महिला) तथा यूपी T-20 में 25% कोटा पूर्वांचल के खिलाड़ियों के लिए सुनिश्चित किया जाए। इसके अलावा, क्रिकेट एसोसिएशन ऑफ पूर्वांचल को BCCI से मान्यता देने की भी मांग की गई।
धरना प्रदर्शन में बड़ी संख्या में खिलाड़ी और अभिभावक, जैसे हरिकेश यादव, नंदन सिंह, रामअवतार, राजेश, प्रखर, अजय आदि ने भाग लिया और इस आंदोलन को समर्थन दिया।