गाजीपुर। करंडा के बाघी गाँव में यादव समाज की एक महत्वपूर्ण बैठक का आयोजन किया गया। इस बैठक में यादव उत्थान समिति जमानियां और यादव महासभा गाजीपुर के पदाधिकारी शामिल हुए। बैठक की अध्यक्षता यादव महासभा गाजीपुर के जिलाध्यक्ष सुजीत यादव और यादव उत्थान समिति के अध्यक्ष कप्तान सुब्बा यादव ने की।
बैठक में समाज की एकता को मजबूत बनाने और सभी संगठनों को एक साथ मिलकर काम करने का संकल्प लिया गया। दोनों संगठनों के अध्यक्षों ने एक संयुक्त बयान में यह स्पष्ट किया कि अब गाजीपुर में समाज के सभी संगठन एक बैनर के नीचे काम करेंगे। कोई संगठन अलग से कार्य न करे। इस निर्णय का मुख्य उद्देश्य यादव समाज को एकजुट करके उनके विकास और उत्थान की दिशा में काम करना है।
बैठक के दौरान यादव उत्थान समिति ट्रस्ट के नेतृत्व में यादव भवन के निर्माण की योजना पर भी चर्चा हुई। इस भवन के निर्माण की जिम्मेदारी सुजीत यादव को दी गई है। उन्होंने बताया कि इस भवन का निर्माण समाज के विभिन्न कार्यों और बैठकों के लिए एक महत्वपूर्ण स्थान बनेगा। यादव समाज के विकास के लिए इस कदम को एक मील का पत्थर माना जा रहा है।
बैठक में मुख्य अतिथि के रूप में पूर्व डीआईजी बलिकरन यादव और विशिष्ट अतिथि के रूप में पूर्व ब्लॉक प्रमुख दयाशंकर यादव ने भी अपने विचार व्यक्त किए। बलिकरन यादव ने समाज की एकता की महत्ता पर जोर देते हुए कहा कि समाज को आगे बढ़ाने के लिए सभी संगठनों को एकजुट होकर काम करना चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि केवल एकजुट होकर ही यादव समाज अपने अधिकारों को हासिल कर सकता है और समाज में सशक्त रूप से अपना स्थान बना सकता है।
पूर्व ब्लॉक प्रमुख दयाशंकर यादव ने सुजीत यादव के नेतृत्व की सराहना करते हुए कहा कि वह हमेशा समाज की भलाई के लिए काम करते आए हैं और उनके नेतृत्व में यादव समाज के उत्थान के लिए और भी बेहतर काम किया जाएगा।
बैठक में यादव उत्थान समिति और यादव महासभा के कई पदाधिकारी उपस्थित थे। इनमें कैप्टन हिरालाल यादव (कोषाध्यक्ष), श्री राम यादव (पूर्व प्रधान), पप्पू यादव (पूर्व प्रधान और उप कोषाध्यक्ष), अनिल यादव (सचिव), अर्जुन यादव (सचिव), धर्मेंद्र यादव (उपाध्यक्ष), रजनी कांत यादव (वरिष्ठ सदस्य), बालिस्टर यादव, अनन्त यादव सहित कई प्रमुख लोग शामिल थे।
समाज के नेताओं ने इस बैठक के माध्यम से एक बार फिर यह स्पष्ट कर दिया कि अब यादव समाज के उत्थान के लिए सभी संगठन एकजुट होकर काम करेंगे और कोई भी संगठन यदि अलग से काम करने का प्रयास करेगा तो उसे समाज के द्वारा बहिष्कृत कर दिया जाएगा। यह निर्णय यादव समाज के भीतर एक नई ऊर्जा और एकता का संचार करेगा, जो समाज के सामाजिक और आर्थिक विकास के लिए एक सकारात्मक कदम साबित होगा।