गाजीपुर। काशी हिन्दी विद्यापीठ द्वारा आयोजित एक विशेष मानद सम्मान समारोह में भारतवर्ष के विभिन्न क्षेत्रों से जुड़े 108 व्यक्तियों को सम्मानित किया गया। इस अवसर पर जनपद के जखनिया मुड़ियारी ग्रासभा निवासी सोशल एक्टिविस्ट और पर्यावरण प्रेमी ग्रीनमैन डा. अरविंद कुमार को 'हिन्दी साहित्य शिरोमणि' मानद सम्मान से नवाजा गया। यह समारोह वाराणसी के महामना मालवीय सभागार में आयोजित हुआ।

कार्यक्रम का आयोजन काशी हिन्दी विद्यापीठ के कुलाधिपति कवि सुख मंगल सिंह मंगल और कुलपति डा. संभाजी राजाराम बाविस्कर के मार्गदर्शन में, तथा कुलसचिव कवि इंद्रजीत तिवारी निर्भीक के प्रमुख संयोजन/संचालन में किया गया।

डा. अरविंद कुमार, जो एक दशक से भी अधिक समय से सामाजिक, पर्यावरण, और लेखन के क्षेत्रों में महत्वपूर्ण योगदान दे रहे हैं, विशेष रूप से पर्यावरण संरक्षण और जागरूकता के लिए जाने जाते हैं। वे स्कूल-कॉलेज के छात्रों को पर्यावरण संरक्षण के लिए प्रेरित करते हैं, जैसे कि उनके जन्मदिन पर पौधारोपण और विवाह जैसे मांगलिक अवसरों पर वर-वधू को उपहार स्वरूप पौधे भेंट करना।

इसके अलावा, वे निर्धन और असहाय परिवारों की बेटियों की शादी में सहयोग भी करते हैं। लेखन के क्षेत्र में भी उनका योगदान सराहनीय रहा है, और इसके कारण उन्हें कई राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय सम्मान मिल चुके हैं।

2023 में डा. अरविंद कुमार ने यूनाइटेड नेशन जनरल असेम्बली दिल्ली में स्पेशल गेस्ट के रूप में भाग लिया। इसके पूर्व, उन्हें विक्रमशिला हिन्दी विद्यापीठ द्वारा 'विद्या वाचस्पति' डाक्टरेट की मानद उपाधि, और अन्य कई प्रतिष्ठित सम्मान जैसे 'विध्यासागर विशेष मानद उपाधि', 'क्रान्तिधरा मेरठ ग्रीनमैन सम्मान', 'राष्ट्रीय सूर वातायन प्रसून सम्मान', 'नेपाल भारत अन्तरराष्ट्रीय युवा रत्न सम्मान', 'साहित्य श्री सम्मान', 'पर्यावरण प्रहरी सम्मान', और 'पूर्वांचल रत्न सम्मान' जैसे सम्मान मिल चुके हैं।

ग्रीनमैन डा. अरविंद कुमार का यह सम्मान उनके निरंतर प्रयासों और समाज के प्रति उनके अडिग समर्पण का प्रतीक है।