गाज़ीपुर, गोविंदपुर: बौद्ध कल्याणकारी महिला उत्थान ट्रस्ट के संस्थापक और समाजसेवी राजकुमार मौर्य ने गोविंदपुर ग्राम सभा के अल्पसंख्यक पासवान समाज के परिवारों से मुलाकात की। गोविंदपुर में महज तीन पासवान परिवार रहते हैं, जिनकी आबादी कम होने के कारण ग्राम प्रधान इन परिवारों पर ध्यान नहीं देता। यही वजह है कि सरकार की महत्वाकांक्षी योजनाएं, जैसे प्रधानमंत्री आवास योजना, इन गरीब परिवारों तक नहीं पहुंच पातीं।
इन परिवारों की मुखिया महिलाओं ने कहा कि यदि उनके पास 50 से ज्यादा वोट होते, तो आज तक उन्हें भी आवास मिल जाता और वे वंचित नहीं रहते। गोविंदपुर के सबसे अंतिम छोर पर बसे इन पासवान समाज के लोगों का दर्द साफ झलक रहा था। उनकी नम आंखें इस बात का संकेत थीं कि उन्हें उनके अधिकारों और हक से वंचित किया गया है।
समाजसेवी राजकुमार मौर्य ने वादा किया कि इस बार वह ऐसे परिवारों को उनके हक दिलवाकर रहेंगे, जिनके वे हकदार हैं। उन्होंने बताया कि बौद्ध कल्याणकारी महिला उत्थान ट्रस्ट द्वारा पूरे ग्राम सभा के गरीब परिवारों का सर्वे किया जा चुका है, और इसकी रिपोर्ट जल्द ही सीडीओ गाज़ीपुर को सौंप दी जाएगी।
भारत सरकार की प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत, जिन नागरिकों के पास खुद का घर नहीं है, उन्हें वित्तीय सहायता प्रदान करके घर बनाने में मदद की जाती है। इस योजना का उद्देश्य सभी बेघर नागरिकों को अपना घर देना है, लेकिन भ्रष्टाचार और राजनीतिक उपेक्षा के कारण कई गरीब परिवार इससे वंचित रह जाते हैं। समाजसेवी मौर्य का कहना है कि वह इन परिवारों के अधिकारों की लड़ाई लड़ेंगे और उन्हें आवास का लाभ दिलवाएंगे।