यात्रायात प्रभारी मनीष त्रिपाठी ने मीडिया को बताया कि उत्तर प्रदेश सरकार के निर्देशानुसार यह कार्यवाही की गई है। नगर क्षेत्र को चार ब्लॉकों ए, बी, सी और डी में विभाजित किया गया है, जिनके आधार पर ई-रिक्शा चालकों के संचालन क्षेत्र निश्चित किए गए हैं।
ब्लॉक ए में लंका, सकलेनाबाद, विशेश्वरगंज, खोवामंडी और रौजा रूट पर कुल 779 ई-रिक्शा सत्यापित किए गए हैं।
ब्लॉक बी के अंतर्गत लंका, सैनिक चौराहा, महराजगंज क्रासिंग और महराजगंज रूट पर 173 ई-रिक्शा पंजीकृत हुए हैं।
ब्लॉक सी में लंका से पुलिस ऑफिस, अफीम फैक्ट्री, महुआबाग, मिश्र बाजार होते हुए चीतनाथ तक के मार्ग पर 316 ई-रिक्शा सत्यापित किए गए हैं। इस ब्लॉक के ई-रिक्शा विशेश्वरगंज से लंका जा सकते हैं, परंतु विपरीत दिशा में संचालन पर कार्रवाई की जाएगी।
ब्लॉक डी में लंका, सांसद तिराहा, सिंचाई विभाग, विकास भवन, पीजी कॉलेज चौराहा और आदर्श बाजार के बीच 350 ई-रिक्शा सत्यापित हुए हैं।
यात्रियों की सुविधा और संचालन में पारदर्शिता बनाए रखने के लिए प्रत्येक ब्लॉक के ई-रिक्शा को रंगों से कोड किया गया है। ब्लॉक ए को लाल, ब्लॉक बी को नीला, ब्लॉक सी को हरा और ब्लॉक डी को भी हरा रंग से कोड किया गया है, हालांकि डी ब्लॉक के कोड को लेकर कुछ स्पष्टता अभी बाकी है।
यह निर्णय न सिर्फ नगर की यातायात समस्या का समाधान करेगा, बल्कि अनधिकृत संचालन और अव्यवस्था पर भी प्रभावी नियंत्रण लाएगा। प्रशासन का यह कदम यातायात की सुचारु व्यवस्था की ओर एक सराहनीय प्रयास माना जा रहा है।